विवाह का रजिस्ट्रेशन कराना अनिवार्य, हिंदुओं को 1 और मुसलमानों को 4 की सुविधा
उत्तर प्रदेश सरकार ने राज्य में सभी शादियों को रजिस्टर्ड करवाना अनिवार्य कर दिया है. शादियों का रजिस्ट्रेशन सभी धर्म के लोगों को करवाना होगा, किसी के रीति रिवाज़ के साथ कोई भेदभाव नहीं किया गया है। मुसलमानों को भी निकाह का रजिस्ट्रेशन करवाना अनिवार्य होगा।
सरकार की इस पहल के अनुसार मुसलमानों को चार शादियों तक एवं दूसरे समुदाय के लोगों के लिए एक शादी का रजिस्ट्रेशन कराने की सुविधा दी गई है। अन्य समुदाय के मामले में पहली पत्नी के रहते हुए दूसरी शादी की अनुमति नहीं होगी, जबकि मुसलमानों के मामले में ऐसा कुछ भी नहीं है वो एक साथ चार चार बीवियों का रजिस्ट्रेशन करवा सकते हैं।
▶️उत्तर प्रदेश में खुला पहला स्टेट बैंक ऑफ टमाटर, लाॅकर एवं लोन सुविधा भी उपलब्ध
▶️अब हर महीने 4 रूपये मंहगा होगा रसोई गैस सिलेंडर, सब्सिडी भी जल्द खत्म करेगी सरकार
गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश सरकार की कैबिनेट ने उत्तर प्रदेश विवाह पंजीकरण नियमावली 2017 को कल (2 अगस्त) मंजूरी दे दी है। जिसके तहत अब पहले से हो चुकी या होने वाली सभी शादियों का पंजीकरण कराना अनिवार्य होगा। उत्तर प्रदेश महिला कल्याण विभाग की प्रमुख सचिव रेणुका कुमार ने कहा शादियों का रजिस्ट्रेशन घर बैठे आॅनलाइन किया जा सकेगा।
विवाह पंजीकरण संबंधित विभाग की वेबसाइट पर जाकर पत्नी का आधार नम्बर डालना होगा, सत्यापन के लिए आधार में रजिस्टर्ड मोबाइल पर एक कोड आयेगा जो वन टाइम पासवर्ड (ओटीपी) के रूप में होगा. कोड डालते ही आधार कार्ड में मौजूद सारी जानकारियां फोटो सहित शादी रजिस्ट्रेशन फार्म में अपने आप आ जायेगी। आपको केवल शादी की तारीख एवं अपने शहर का नाम फार्म में भरना होगा। इसके बाद आप का रजिस्ट्रेशन पूरा हो जाएगा और आपको रजिस्ट्रेशन नंबर दे दिया जाएगा।
सफलतापूर्वक रजिस्ट्रेशन कराने के बाद सर्टिफिकेट के लिए आप चाहें तो डायरेक्ट अपने ईमेल पर भी हासिल कर सकते हैं या किसी साइबर कैफे के यहाँ से डाउनलोड करवा सकते हैं।